हमारे भारत देश में अलग-अलग जलवायु के कारण कृषि पर बहुत अधिक प्रभाव पड़ता है। अवांछनीय मौसमी आपदाओं के कारण हुए फसल नुकसान से किसानों को बचाने के लिए सरकार ने Fasal Bima Yojana की शुरुआत की है। इस योजना से किसानों को फसल नुकसान से हुई आर्थिक क्षति से उभरने में सहायता मिलेगी।
प्रधानमंत्री फ़सल बीमा योजना
सरकार द्वारा सन् 2016 में प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की शुरुआत की गई। कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय द्वारा इसका क्रियान्वयन किया जा रहा है। इस योजना में प्रतिवर्ष औसतन 5.5 करोड़ किसानों को इस योजना में लाभ प्रदान किया जाता है। इस योजना को PMFBY (Pradhanmantri Fasal Beema Yojana) व फसल बीमा योजना के नाम से भी जाना जाता है।
योजना के उद्देश्य
- जलवायु परिवर्तन व प्राकृतिक आपदा के कारण किसनाओ को हुए नुकसान को कम करना।
- किसानों की वार्षिक आय को स्थिर करने में मदद करना।
- प्राकृतिक आपदाओं के कारण किसानों की वार्षिक आय में हुई क्षति को कम करना।
- किसानों को आत्म-हत्या जैसी घटनाओं से दूर रखना अर्थात किसानों की आत्म-हत्या की दर में कमी लाना।
- आधुनिक व तकनीकी कृषि को बढ़ावा देना।
योजना के लाभ
इस योजना में सरकार द्वारा किसानों को प्राकृतिक आपदाओं के कारण कृषि में नुकसान का मुआवजा प्रदान करती है। इस मुआवजा राशि से किसानों को आर्थिक संकट से उभरने में मदद मिलती है। देश में कई किसान है जों फसल में नुकसान होने के कारण आत्म-हत्या कर लेते है, इस योजना की शुरुआत के बाद किसानों की आत्म-हत्या की दर में कमी आई है। यह योजना किसानों की आत्म-हत्या जैसी घटनाओं को रोकने में मिल का पत्थर साबित हुई है।
सरकार द्वारा फसल बीमा योजना में हर मौसम की लग-अलग फसलों के लिए बीमा की व्यवसाथ की गई है। इस योजना में आपको बीमा राशि के रूप में मात्र 1% से 2% की राशि ही जमा करानी पड़ती है।
फसल बीमा में शामिल मौसमी फसलें
सरकार द्वारा Fasal Bima Yojana में अलग-अलग राज्यों में अलग-अलग योजनाओं को सम्मिलित किया गया है। सरकार द्वारा सम्मिलित की गई कुछ मुख्य फसलों की जानकारी नीचे दी गई है।
ख़रीफ़ की फसलें- कपास, मक्का, धान, बाजरा, मूँग
रबी की फसलें- जौ, गेंहू, चना, सरसों, सूरजमुखी
Note:- सरकार द्वारा इस योजना में समिलित की गई फसलों की राज्यवार जानकारी आप इसकी आधिकारिक वेबसाइट से प्राप्त कर सकते है।
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फसल बीमा योजना में सूचीबद्ध मौसमी घटनाएँ
- स्थानीयकृत आपदाएँ:- इसमें ओलवृष्ठि, बाढ़, बदल फटना, बिजली गिरना आदि घटनाएँ शामिल हैं।
- बुआई से लेकर कटाई तक के समय के लिए:- सूखा, ओलावृष्ठि, बाढ़, कीट या कोई अन्य फसल संबंधी बीमारी।
- फसल कटाई के बाद के समय के लिए:- बेमौसम बारिश, बाढ़, चक्रवात आदि।
प्रधानमंत्री बीमा योजना में दी जाने वाली फसल बीमा राशि
फसल | देय बीम राशि (प्रति हेक्टेयर) |
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धान | 96371/- रुपए |
बाजरा | 46456/- रुपए |
मक्का | 49421/- रुपए |
कपास | 98595/- रुपए |
मूँग | 43243/- रुपए |
आवश्यक पात्रता शर्ते
कृषि एवं किसान मंत्रालय द्वारा संचालित की जा रही Fasal Bima Yojana में सभी पंजीकृत किसान आवेदन कर सकते है। यदि आप इस बीमा योजना का लाभ लेना चाहते है तो इसके लिए आपको इसके लिए निर्धारित प्रीमियम राशि का भुगतान करना होगा। इसके साथ ही किसान क्रेडिट कार्ड योजना का लाभ ले रहे किसान भी इस योजना के लिए पात्र होंगे।
फसल बीमा योजना में आवेदन कैसे करें?
पीएम फसल बीमा योजना में आप इसकी आधिकारिक वेबसाइट के माध्यम से आवेदन कर सकते है। आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर आपको आपके रजिस्टर्ड किसान आईडी की सहायता से लॉग-इन करना होगा जिसके बाद इसमें आवेदन कर सकते है।
फसल बीमा को कैसे चेक करें?
यदि आप फसल बीमा राशि या अपने आवेदन की स्थिति चेक करना चाहते है तो आप इसकी आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर चेक कर सकते है।
में फसल बीमा पर अपनी लाभार्थी सूची कैसे ढूंढे?
फसल बीमा योजना की आहदिकारिक वेबसाइट पर जाकर आपको आपकी किसान आईडी की सहायता से लॉग-इन करना है जिसके बाद आपको इस योजना की लिस्ट दिखाई दें जायेगी।
फसल बीमा द्वारा कौन सी फसलें कवर की जाती हैं?
पीएम फसल बीमा योजना में सभी मौसमी फसलों को कवर किया जाता है जिसमें खरीब, रबी व अन्य फासले भी सम्मिलित है।